हम हस रहे थे वोह देख रहे थे
हम रो रहे थे वोह मना रहे थे
हम उदास थे वोह खुसीयां दे रहे थे
हम सो रहे थे वोह रक्षण कर रहे थे
हम डरके मारे छुप रहे थे वोह बचा रहे थे
हमने पत्थर उठाया बचने के लीये वोह चल दीये अब तुं ही लड ले
हमें अपना बचाव करना चाहीये मगर लडना नही चाहीये
सब कुछ उपर वाले छोड दें वोह सब संभाल लेगा
बस कार्य करते रहे
राधे कृष्ण